श्री बंशीधर नगर: जैसा नाम वैसा काम: कैनवास पर कूंची की कलाकारी से हर किसी का दिल जीत रहे हैं दिलजीत
श्री बंशीधर नगर : शहर के श्री बंशीधर मुहल्ला निवासी दिलजीत कुमार कैनवास पर अपनी कूंची की कलाकारी से हर किसी का दिल जीत ले रहे हैं। पैर से दिव्यांग 23 वर्षीय दिलजीत की पढ़ाई के साथ-साथ कला के क्षेत्र में भी खासी रुचि है। दिलजीत के हाथों में अद्भुत कला है, वे आंखों से देखकर अपने हाथों से दीवार व कैनवास पर हु ब हु उतार देते हैं।
निर्धन परिवार में जन्में दिलजीत की बचपन की कहानी दर्दनाक है। जन्म के दो वर्ष के बाद वे पोलियो से ग्रसित हो गये। उनका दायां पैर पोलियो ग्रस्त है। पिता राजमिस्त्री का काम करते थे। उन्होंने दिलजीत के इलाज के लिये हरसंभव प्रयास किया। किंतु आर्थिक तंगी के कारण उसका उचित इलाज नहीं हो सका। लेकिन ईश्वर ने दिव्यांग होने पर दिलजीत को विशिष्ट कला प्रदान किया है। वे दीवार और कागज पर कूंची और पेंसिल के माध्यम से अपनी कला का प्रदर्शन कर रहे हैं।
दिलजीत ने शनिवार को श्री बंशीधर नगर के एसडीओ आलोक कुमार (आईएएस) के स्केच को उनके कार्यालय में जाकर भेंटकर दिल जीत लिया। पेंसिल से बने स्केच को देख प्रसन्नता व्यक्त करते हुये एसडीओ आलोक ने दिलजीत की मुक्तकंठ से सराहना की। उन्होंने कहा कि दिलजीत का प्रयास काफी सराहनीय है आगे और बेहतर प्रदर्शन कर श्री बंशीधर नगर समेत गढ़वा जिला का नाम रौशन करेगा।
उन्होंने दिलजीत के उज्जवल भविष्य की कामना करते हुये अपनी ओर से हर संभव मदद करने का भरोसा दिलाया। यहां बताते चलें कि दिलजीत की प्रारंभिक पढ़ाई श्री बंशीधर नगर में हुई। हाईस्कूल एवं इंटर की पढ़ाई प्लस टू हाईस्कूल से की। एसएसजेएसएस नामधारी कॉलेज गढ़वा से गणित विषय से बीएससी प्रथम श्रेणी से पास किया है। आगे की पढ़ाई जारी रखने के लिये उसने चित्रकला को चुना।
बकौल दिलजीत स्केच बनाने का भाव उसके मन में स्वयं आया है। हालांकि दिलजीत को चित्रकला में बेहतर प्रदर्शन करने में सफलता भी मिल रही है। दिलजीत बचपन से ही चित्र बना रहे हैं। उसने पहले स्कूलों एवं घरों में जाकर देवी देवताओं एवं महापुरुषों का चित्र दीवार एवं कागज बनाते थे और उसी से घर परिवार का भरण पोषण करते थे। किंतु कोरोना काल मे लॉकडाउन के कारण स्कूलों से काम मिलना बंद हो गया। लिहाजा घर चलाना मुश्किल हो गया।
उन्होंने प्रदेश के पेयजल एवं स्वच्छता मंत्री मिथिलेश कुमार ठाकुर एवं गढ़वा के डीसी रमेश घोलप का स्केच बनाकर भेंट की है। मंत्री ने अपनी ओर से दिलजीत को आर्थिक सहायता भी प्रदान की थी। उन्होंने सीएम हेमंत सोरेन का भी स्केच बनाया है किंतु उन्हें भेंट नहीं कर सका है।