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सगमा: राष्ट्रीय असंगठित श्रमिक रसोईया वेलफेयर एसोसिएशन जिला गढ़वा ईकाई के द्वारा बैठक

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सगमा : राष्ट्रीय असंगठित श्रमिक रसोईया वेलफेयर एसोसिएशन जिला गढ़वा ईकाई के द्वारा सगमा प्रखंड मुख्यालय स्थित राजकीय मध्य विद्यालय में आवश्यक बैठक आयोजित की गई । बैठक का अध्यक्षता प्रखंड अध्यक्ष समुद्री देवी के द्वारा, संचालन जिला अध्यक्ष अनीता देवी के द्वारा किया गया। बैठक में मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित संगठन के संस्थापक संरक्षक तैय्यब अंसारी एवं प्रदेश के संरक्षण व प्रभारी बखोरी राम भी उपस्थित थे।

 

बैठक को संबोधित करते हुए बखोरी राम कहा कि प्रदेश सरकार द्वारा कार्यरत रसोईयो के साथ सौतेला व्यवहार कर रही है। माननीय उच्चतम न्यायालय के आदेश के बाद भी प्रदेश सरकार द्वारा बंधुआ मजदूरी करा रही हैं, अल्पमानदेय दे कर जब कि भारत सरकार द्वारा निर्धारित न्यूनतम मानदेय रसोईयों को मिलना चाहिए।

 

 

जिलाध्यक्ष अनीता देवी ने कहा कि प्रदेश में सभी सम्मानित कार्यरत रसोईयो को सरकारी सुविधाएं उपलब्ध कराई जा जैसे मातृत्व अवकाश 90 दिन का 14 आकस्मिक अवकाश, पेंशन कि सुविधा, सभी विद्यालयों पर छात्र संख्या के आधार पर रसोइयों का चयन किया जाना चाहिए।

 

संगठन के राष्ट्रीय संस्थापक / संरक्षक तैय्यब अन्सारी ने बैठक को संबोधित करते हुए कहा कि केंद्र एवं प्रदेश सरकारों द्वारा सरकारी अर्द्ध सरकारी प्राथमिक विद्यालय अशासकीय सहायता प्राप्त स्कूलों मदरसा बोर्ड से प्राप्त विद्यालयों एवं में कार्यरत रसोइयों को नियमितीकरण स्थाई करते हुए चतुर्थ श्रेणी कर्मियों का दर्जा दिया जाना चाहिए एवं देश के विभिन्न प्रदेशों के मा उच्च न्यायालय एवं देश के सर्योच्चय न्यायालय द्वारा रसोईयों को न्यूनतम मानदेय देने का आदेश न्यायमूर्ति द्वारा निर्गत किया गया है। इसके बाद भी केन्द्रीय मंत्री द्वारा सन् 20 22 – 23 में न्यूनतम मानदेय अधिनियम लागू करते असंगठित श्रमिकों को 16506 हजार रुपए मासिक वेतन देने का निर्माण किया गया। इसके बाद भी देश के समस्त कार्यरत रसोइयों को अल्पमानदेय दिया जा रहा है। जिससे इनका आर्थिक रूप से शोषण किया जा रहा है। अन्सारी ने कहा कि सभी विद्यालयों में कार्यरत रसोइयों के लिए स्थाई नियमावली बनाकर इनके लिए सरकारी प्राथमिक सुविधाएं उपलब्ध कराते हुए कार्यरत रसोइयों का निर्धारित उम्र 62 वर्ष सुनिश्चित किया जा उम्र के आधार पर निष्कासन पर 5 लाख रुपए नकद ग्रेच्युटी एवं 10 हजार रुपए मासिक पेंशन,डेंस, आयुष्मान कार्ड 5 लाख रुपए का बनाया जाए जिससे वे अपने समस्त परिवार को किसी भी अस्पताल में आसानी से इलाज कराया जाय। उन्होंने देश के सभी रसोईयों एवं सहायको से 11 माह कार्य कराती मानदेय मात्र 10 माह का ही दिया जाता है जबकि समान कार्य का समान मानदेय सम्पूर्ण शिक्षा सत्र का मिलना चाहिए मा न्यायालय के आदेश के क्रम में सन् 20 05 से अब तक का अंतर बकाया मानदेय का 5 लाख 10 लाख रुपए तक का भुगतान किया जाया जा इसके साथ ही साथ मेडिकल कि सुविधा, स्वास्थ्य बीमा, रसोइयो के मृत्यु उपरांत उनके परिवार को हीं बरीयता क्रम में रिक्त पदों पर नियुक्ति किया जाय केंद्र व प्रदेश सरकार हमारी बातों को गौर नहीं किया गया तो नवंबर में दिल्ली के जन्तर मंन्तर पर विशाल धरना प्रदर्शन किया जाएगा। जिसकी पुरी जिम्मेदारी सरकार कि होगी

इस बैठक में प्रतिभाग करने वाले मुख्य रूप सैकड़ो रसोईया उपस्थित थी।


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